इस साल विश्व पर्यटन दिवस की थीम है 'टूरिज्म एंड द डिजिटल ट्रांसफॉरमेशन'
बुडापेस्ट में होगा आयोजन
वर्ल्ड टूरिज्म डे 2018 : टूरिज्म एंड डिजिटल ट्रांस्फॉर्मेशन
यात्रा, सफर, पर्यटन, ट्रेवलिंग, ट्रिप, टूर.... शब्द चाहे जो ले लीजिए लेकिन अनुभव के स्तर पर दिमाग में जो अहसास आते हैं वह है हरी-भरी वादियां, छलछल कलकल करती नदियां, झरझर झरते झरने, साफ खूला आकाश, ऊंची-ऊंची पहाड़ियां, पंछियों का कलरव, मुस्कुराते फूल... ताजातरीन खुशियां और रोमांच... जितना हम अपने दायरे में सीखते हैं उससे कहीं ज्यादा हम सफर के अनुभवों से सीखते हैं।
आप जो हमेशा अपने आसपास देखते हैं उससे कुछ बेहद अलग एक नई दुनिया का नजारा लेना है तो यकीनन सैर पर निकल जाएं। आपने पहले इस तरह की ट्रिप्स ली हैं तो सोने पे सुहागा, आपको टूरिज्म की महत्ता पल भर में समझ आ जाएंगी। अगर अब तक अपनी पसंदीदा जगह पर नहीं जा सके हैं तो यह जान लीजिए कि आपके लिए यह यात्रा एक थैरेपी की तरह काम करेगी।
अगर आपको लगता है कि आपको थैरेपी की जरूरत नहीं तो हम कहेंगे कि जैसे स्पा आपके शरीर को आराम और शांति देता है ठीक उसी तरह, किसी जगह की सैर आपके दिमाग को नई ताजगी, ऊर्जा और ऐसे अनूठे अनुभव देगी जो किसी और कार्य से संभव ही नहीं। आपको रोमांच, रहस्य, ताजगी, स्वाद, संस्कृति, परंपरा, मानवीय स्वभाव इन सबका मिलाजुला अनोखा अनुभव करना है बस एक यात्रा प्लान कर लीजिए। अनुभव ऐसा होगा कि आप ताउम्र याद रखेंगे। पर्यटन के इसी महत्व को देखते हुए हर वर्ष 27 सितंबर को विश्व पर्यटन दिवस मनाया जाता है। प्रति वर्ष उसके लिए थीम भी निर्धारित की जाती है। 1980 में सबसे पहले सांस्कृतिक विरासत, शांति और आपसी समझ के संरक्षण के लिए पर्यटन का योगदान थीम को प्राथमिकता दी गई थी। पिछले वर्ष यह थीम थीं 'सस्टेनेबल टूरिज्म ए टूल फॉर डेवलेपमेंट' उसी तरह इस साल की थीम है टूरिज्म एंड द डिजिटल ट्रांसफॉरमेशन...
वर्ल्ड टूरिज्म डे 2018 : टूरिज्म एंड द डिजिटल ट्रांसफॉरमेशन
इस वर्ष वर्ल्ड टूरिज्म डे की थीम है टूरिज्म एंड डिजिटल ट्रांसफॉरमेशन। आखिर क्यों पर्यटन के क्षेत्र में डिजिटल माध्यमों के महत्व समझने के लिए एक पूरा दिन ही मुक़र्रर किया गया है?
इसकी खास वजहें हैं जो हर पर्यटक को पता हैं या पता होनी चाहिए। इस साल वर्ल्ड टूरिज्म डे पर तकनीक का पर्यटन में महत्व जानने के अलावा, इस क्षेत्र में नई खोज करने के साथ साथ इस क्षेत्र का भविष्य भी तैयार करने जैसे कार्य किए जाएंगे। तकनीक (अधिक डेटा संकलन के रूप में, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के रूप में और डिजिटल प्लेटफॉर्म के रूप में) कैसे इस क्षेत्र को नई ऊंचाइयां दे रहे हैं यह इस साल के वर्ल्ड टूरिज्म डे पर जाना जाएगा।
तकनीक ने यात्रा बनाई है आसान और सुरक्षित
तकनीक का इस क्षेत्र में इस्तेमाल संभावनाओं के नित नए दरवाजे खोल रहा है। लोग पहुंचने के पहले ही नई जगह के लिए तैयार हैं। उन्हें मौसम से लेकर संस्कृति के बारे में हर छोटी-बड़ी जानकारी दुनिया के किसी भी कोने से किसी भी कोने के लिए मिल जाती है। तकनीक ने यात्राएं सुरक्षित और आराम से भरी बनाई हैं। तकनीक के इस्तेमाल से धोखा होने और किसी अपराध का शिकार होने की संभावना भी कम हुई है।
किसी जगह घूमने जाने का ख्याल आते ही, पर्यटक जगह से लेकर ठहरने, ट्रांसपोर्ट और भोजन की उपलब्धता तकनीक के माध्यम से बहुत पहले से जान सकते हैं और उसके अनुरूप ही अपनी योजना बना सकते हैं। अपने लिए इंतजाम पहले से करके निश्चिंत होकर अपनी यात्रा का मजा ले सकते हैं।
अगले पेज पर कैसे तकनीक ने बनाया यात्रा को बेहद आसान और सुरक्षित...
तकनीक के टूरिज्म में फायदे
मोबाइल गाइड बनकर हरपल है साथ : अब आपको किसी गाइड की जरूरत नहीं। जहां भी पहुंचे हैं वहां की जानकारी सर्च करें और गाइड से अधिक जानकारी आपके हाथ में है।
भटकने का डर नहीं : मोबाइल में मौजूद नेविगेशन के बाद आप कहीं दूर गलत रास्ते पर नहीं जा सकते। आपको हर पल है खबर किस ओर जाना है।
भाषा की सुविधा : ट्रांस्लेशन ऑप्शन की मदद कभी भी ली जा सकती है। लोकल लोगों से बात करना आसान है।
खुद तैयार करें अपना प्लान : अब किसी से पूछने की जरूरत नहीं किसी जगह की देखने लायक जगहें। आप यहां पहुंचने से पहले ही अपना प्लान बना चुके हैं।
बजट भी हुआ है कम : तकनीक की वजह से आप अपने बजट की चीजें पहले से जान सकते हैं। अपने बजट के अनुरूप अपना प्लान बना सकते हैं।
दूसरों के अनुभव से ले सकते हैं अपने फैसले : तकनीक ने जानकारी फैलाने में मदद की है। जो पहले से किसी जगह जा चुके हैं उनके अनुभव आपके काम आ सकते हैं।
यात्रा में कुछ भी अनछुआ नहीं रहेगा : आप किसी भी जगह की हर ख़ास जगह जाकर आए हैं। यात्रा सफल रही क्यों आपको पहले से उस जगह के खासियतें पता थीं।
हंगरी की राजधानी बुडापेस्ट : कितनी ख़ास है यह जगह
साल 2018 के लिए वर्ल्ड टूरिज्म डे का आयोजन हंगरी की राजधानी बुडापेस्ट में है। दनुबे नदी के किनारे पर बसा यह ख़ूबसूरत शहर इस साल यूनाइडेट नेशशंस वर्ल्ड ऑर्गेनाइजेशन द्वारा आयोजित वर्ल्ड टूरिज्म डे की मेजबानी करेगा।
बुडापेस्ट हंगरी का सबसे अधिक आबादी वाला शहर है। इसमें हंगरी की लगभग 33 प्रतिशत आबादी रहती है। यह शहर व्यवसाय, धन, मीडिया, कला, फैशन, शोध, तकनीक, शिक्षा और मनोरंजन के क्षेत्रों में एक अलग ही पहचान रखता है। बुडापेस्ट को यूरोप की सबसे अधिक खूसूरत शहरों में से एक माना जाता है। टूरिज्म के लिहाज से यह बेहद पॉपुलर है।
इस शहर में स्थित संग्रहालयों के अलावा यहां कई संस्कृति से जुड़े संस्थान भी हैं। यहां स्थित म्यूजियम ऑफ़ फाइन आर्ट्स में सबसे अधिक पर्यटक आते हैं। यहां विभिन्न यूरोपियन कालों से एकत्रित सामान संग्रहित किए गए हैं। हाउस ऑफ़ टेरर, फ्रान्सज लिस्टज एकेडमी ऑफ़ म्यूजिक, स्टेट ओपेरा हाउस ऐसे ही कुछ नाम हैं जो पर्यटकों को अपनी तरफ भारी संख्या में खींचते हैं। शहर का दनुबे नदी के आसपास बसा मध्य का इलाका यूनेस्को वर्ल्ड हैरिटेज साइट है।
अन्य नामी जगहों में एन्ड्रेसी एवेन्यू, संत स्टीफन बैसिलिका, हीरोज स्कैवेयर, द ग्रेट मार्केट हॉल, न्यूगति रेलवे स्टेशन शामिल हैं। बुडापेस्ट में हर साल 40 लाख से भी अधिक पर्यटक पहुंचते हैं। इस तरह यह दुनिया की पर्यटन के लिहाज़ से 25 वीं सबसे अधिक पसंद की जाने वाली सिटी है। यूरोप में यह पर्यटन के क्षेत्र में छठें स्थान पर पसंद की जाती है।