मौत पर बवाल, भाजपा सांसद ने पुलिस पर लगाए गंभीर आरोप
कानपुर देहात। कानपुर देहात के थाना शिवली के अंतर्गत पुलिस कस्टडी में संदिग्ध परिस्थितियों में लालपुर सरैंया में रहने वाले व्यापारी बलवंत की मौत के बाद पुलिस अधीक्षक ने कार्यवाही करते हुए 9 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया था। इस बीच अकबरपुर से भाजपा सांसद देवेंद्र सिंह भोले ने कानपुर देहात पुलिस व पुलिस अधीक्षक पर गंभीर आरोप लगाते हुए सवाल खड़े कर दिए हैं।
पुलिस अधीक्षक देती है भ्रष्टाचारियों को संरक्षण - अकबरपुर से भाजपा सांसद देवेंद्र सिंह भोले ने पुलिस की कार्यशैली पर उठाते हुए कठघरे में खड़ा किया है। उन्होंने कहा कि कानपुर देहात की पुलिस अधीक्षक भ्रष्टाचारियों को संरक्षण देती हैं और उनके निर्देश पर यह घटना हुई है। जो मृतक है वह व्यापारी था। गांव की पार्टी बंदी, निशानदेही और राजनीतिक प्रतिद्वंद्विता के कारण बलवंत को पकड़कर पुलिस ले गई।
पुलिस ने रनिया से पकड़ा है। उसके बाद रनिया से मैथा पहुंचे। फिर सार्वजनिक चौराहे पर मृतक बलवंत को मारा। जबकि लूट की घटना का मुकदमा दर्ज कराने वाला मृतक का चाचा बार-बार कहा जा रहा था। मेरा भतीजा है यह चोरी में नहीं शामिल है इसको छोड़ दें। लेकिन पुलिस ने उसको नहीं छोड़ा।
बंगले से नहीं निकलते एसपी - भोले ने पुलिस अधीक्षक पर निशाना साधते हुए कहा कि पुलिस अधीक्षक को अपने बंगले से निकलकर कहीं जाना ही नहीं है। इसके चलते कोई भी दिन ऐसा नहीं जाता है जब जिले में लूट की घटना न होती है। उन्होंने कहा कि और आज तक एक भी घटना का खुलासा पुलिस नहीं कर पाई है। उन्होंने कहा कि इस घटना में पुलिस की घोर लापरवाही व बदमाशी है।
डॉक्टर पर भी खड़े किए सवाल - भाजपा सांसद ने पुलिस की कार्यशैली के साथ डॉक्टर पर भी सवाल खड़े किए और कहा कि डॉक्टर ने जो रिफर लेटर बनाया है। उसमें 11 तारीख की घटना दर्शाई गई है। जबकि घटना 12-13 तारीख की रात में हुई है। पूरी तरह से गुमराह करने का प्रयास किया जा रहा था। ऐसी स्थिति में परिवार को कानपुर देहात पोस्टमार्टम हाउस पर भरोसा नहीं था। जिसके चलते शासन में बात करने के बाद पोस्टमार्टम कानपुर नगर में कराया गया है।
उन्होंने कहा कि पुलिस कह रही है कि हार्टअटैक से मौत हुई है लेकिन दूध का दूध पानी का पानी पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद हो जाएगा।
क्या था मामला - कानपुर देहात के थाना शिवली के अंतर्गत 6 दिसंबर को व्यापारी चंद्रभान के साथ हुई लूट की घटना के खुलासे में जुटी पुलिस टीम व एसओजी टीम ने संदेह के आधार पर 5 लोगों को हिरासत में लिया था।जिसमें लूट का शिकार हुए चंद्रभान का भतीजा बलवंत भी मौजूद था वही पूछताछ के दौरान बलवंत पुलिस की बर्बरता का शिकार हो गया और उसकी मौत हो गई।
आनन-फानन में पुलिस अधीक्षक सुनीति के निर्देश पर 9 पुलिसकर्मी सस्पेंड कर दिए गए और वही पुलिस अधीक्षक ने जांच के लिए एसआईटी भी गठित कर दी इसी के साथ देर रात पांच पुलिसकर्मी सहित सात लोगों के ऊपर हत्या का मुकदमा भी दर्ज किया गया है।