कौन है अफगानिस्तान के गृहमंत्री सिराजुद्दीन हक्कानी, अमेरिका ने क्यों रखा था 36.82 करोड़ का इनाम...
काबुल। अफगानिस्तान में तालिबान सरकार के गठन के साथ ही दुनियाभर में आतंकवाद को लेकर दहशत बढ़ गई है। मुल्ला हसन अखुंद की सरकार में कुख्यात आतंकी सिराजुद्दीन हक्कानी को गृहमंत्री बनाया गया है। अमेरिका ने हक्कानी पर 50 लाख डॉलर (36,82,12,500 करोड़ रुपए) का इनाम रखा है।
सिराजुद्दीन हक्कानी का नाम वैश्विक स्तर के आतंकवादियों की सूची में है। अमेरिका ने उसके बारे में सूचना पर 50 लाख डॉलर का इनाम घोषित कर रखा है। अमेरिका के संघीय जांच ब्यूरो (FBI) की वेबसाइट के अनुसार, 2008 में अफगान राष्ट्रपति हामिद करजई की हत्या के प्रयास की साजिश में भी वह कथित रूप से शामिल था।
13 सालों में हक्कानी समूह ने कई बार यहां अमेरिकी सैनिकों पर भी हमले का प्रयास किया। 2011 में हक्कानी समूह ने अमेरिकी दूतावास ने पास स्थित नाटो के ठिकानों पर हमला किया था। 2017 में हक्कानी समूह ने एक ट्रक बम हमला किया था जिसमें 150 से अधिक लोग मारे गए थे। अफगानिस्तान में अमेरिकी दबदबे के बाद भी वह अमेरिकी शिकंजे से दूर ही रहा।
सिराजुद्दीन हक्कानी का संबंध पाकिस्तान के नॉर्थ वजीरिस्तान इलाके से है। उसके आतंकी संगठन हक्कानी नेटवर्क के अल-कायदा से भी करीबी संबंध रहे हैं। बताया जा रहा है कि उसे पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई का भी समर्थन हासिल है।
एफबीआई के अनुसार, हक्कानी का कद 5 फीट 7 इंच है। अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद 45 साल वर्षीय हक्कानी काबुल आया। हाल ही में हक्कानी की मुल्ला अब्दुल गनी बरादर से झड़प और बरादर के घायल होने की खबरे भी सामने आई थी।
अमेरिका के मोस्ट वॉन्टेड टेरेरिस्ट लिस्ट में शामिल सिराजुद्दीन हक्कानी को गृहमंत्रालय की कमान सौंप देना तालिबान के आंतक भरे मंसूबों को दिखाता है। सबसे बड़ा सवाल तो यह कि तालिबान की इस 'आतंकी' सरकार को दुनिया के कितने देश अपनी स्वीकार्यता देते हैं?