राम लला हम आएंगे मंदिर वहीं बनाएंगे- कब और किसने दिया था ये नारा
Ram lala mandir ayodhya: अयोध्या में राम मंदिर निर्माण हो चुका है और अब 22 जनवरी 2024 सोमवार को रामलला मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा की जा रही है। इस दौरा फिर से वह नारा गुंज रहा है जबकि राम जन्मभूमि मुक्ति आंदोलन के समय लोग लगाते थे- रामलला हम आएंगे मंदिर वहीं बनाएंगे सौगंध राम की खाते हैं। मंदिर वहीं बनाएंगे। आज वह सौगंध भी पूरी हो गई और राभक्त सभी अयोध्या में एकजुट हो रहे हैं।
किसने दिया था ये नारा:-
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राम जन्मभूमि आंदोलन में गूंजने वाला सबसे अहम नारा रहा- राम लला हम आएंगे, मंदिर वहीं बनाएंगे।
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1990 के दौर में यह नारा देश के गांव गांव में गूंज गया था। बच्चा बच्चा ये नारा लगाता था।
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कहते हैं कि यह कारसेवकों के किसी शिविर में यह नारा पहली बार बाबा सत्यनारायण मौर्य ने दिया था।
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यह नारा बाद में हर रामभक्त की जुबान पर चढ़ गया था।
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6 दिसंबर, 1992 को अयोध्या के कार्यक्रम में सबसे पहले मंच संचालन उन्होंने ही किया।
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राम जन्मभूमि आंदोलन को लेकर उनके गाने की कैसेट भी तब खूब चली थी।
कब जन्मा था ये नारा:-
कहते हैं कि उज्जैन में 1986 में बजरंग दल के शिविर में पहली बार बाबा सत्यनारायण मौर्य ने यह नारा दिया था।
इस शिविर से निकलकर यह नारा संपूर्ण देश में आग की तरह फैल गया और यह बाद में रामजन्मभूमि आंदोलन का एक अहम नारा बन गया था।
कहते हैं कि 23 दिसंबर, 1949 की सुबह अयोध्या और आसपास के इलाकों में ये खबर आग की तरह फैल गई थी कि राम जन्मभूमि पर रामलला फिर से प्रकट हुए हैं। वहां पर रात को खुद से रामलला प्रकट हो गए हैं।
दावा किया गया कि चबूतरे पर जो रामलला की मूर्ति रहती थी, वो वहां से गायब होकर अपने आप गुंबद के ठीक नीचे यानि कि गर्भगृह पहुंच गई है और ये सब अपने आप हुआ है। इस खबर के सामने आने के बाद हजारों की संख्या में लोग रामलला के दर्शन करने पहुंचने लगे।
इसके बाद 6 दिसंबर से ही रामलला एक टेंट में रह रहे थे। वर्तमान में राम मंदिर निर्माण हेतु उन्हें वहां से हटाकर दूसरी जगह शिफ्ट किया गया है। रामलला जिस टेंट में रहते थे, उसे पिछले कई वर्षों में सिर्फ दो बार बदला गया था। यहां सुबह-शाम उनकी आरती होती है, गो लगता है और श्रृंगार होता है।