सात ट्रेनों में टीटीई को मिले 'हैंड हेल्ड टर्मिनल', टनों कागज की बचत होगी
नई दिल्ली। भारतीय रेलवे ने ट्रेनों में चल टिकट परीक्षकों (टीटीई) को आरक्षित टिकटों की जांच और उन्हें दर्ज करने के लिए 'हैंड हेल्ड टर्मिनल' (एचएचटी) से लैस करना शुरू कर दिया है। इससे गाड़ी में खाली बर्थों की उपलब्धता और प्रतीक्षा सूची वाले यात्रियों को निष्पक्षता से सीट मिलना सुनिश्चित हो जाएगी।
उत्तर रेलवे के एक प्रवक्ता ने शुक्रवार को यहां बताया कि उत्तर रेलवे के दिल्ली मंडल को कुल 180 एचएचटी सेट प्राप्त हुए हैं। दिल्ली से चलने वाली 4 शताब्दी एक्सप्रेस गाड़ियों, 2 राजधानी एक्सप्रेस और गतिमान एक्सप्रेस गाड़ियों में टीटीई को एचएचटी प्रदान किए गए हैं। अन्य सभी गाड़ियों में भी जल्द ही ये मशीनें दी जाएंगी।
प्रवक्ता के अनुसार चल टिकट परीक्षकों को अब गाड़ियों में रिजर्वेशन चार्ट लेकर चलना नहीं पड़ेगा। उन्हें यात्रियों की आरक्षण स्थिति की जांच एवं अगले स्टेशन पर आरक्षण स्थिति की सूचना के लिए 'हैंड हेल्ड टर्मिनल' दिए जाएंगे। वर्तमान में बर्थ उपलब्धता की स्थिति, टिकटों की जांच एवं चार्ट को टीटीई द्वारा आरक्षण चार्ट पर किया जाता है।
इसके लिए उन्हें गाड़ियों में यात्रियों की आरक्षण की जांच या बर्थ आरक्षित करने के लिए कागजों का आरक्षण चार्ट ले जाना पड़ता है। उन्हें टिकट की जांच या बर्थ आवंटन करने के लिए बार-बार आरक्षण चार्ट को रेफर करना पड़ता है। आईटी की पहल से 'हैंड हेल्ड टर्मिनल' आरंभ करने से कागजों पर कार्य समाप्त हो जाएगा तथा एचएचटी प्रणाली से मार्ग के सभी स्टेशनों को बर्थ उपलब्धता की तुरंत सूचना मिल जाएगी।
प्रवक्ता के अनुसार वर्तमान में 12039/12040 काठगोदाम शताब्दी, 12037/12038 लुधियाना शताब्दी, 12029/12039 अमृतसर शताब्दी और 12017/12018 देहरादून शताब्दी एक्सप्रेस, 12050/12049 गतिमान एक्सप्रेस तथा 12434/12433 चेन्नई राजधानी एक्सप्रेस तथा 22414/22413 गोवा राजधानी एक्सप्रेस में इस सुविधा को प्रारंभ किया गया है तथा धीरे-धीरे सभी गाड़ियों में प्रारंभ किया जाएगा।
दिल्ली के मंडल रेल प्रबंधक आरएन सिंह ने बताया कि इस प्रणाली से बर्थ आवंटन में पारदर्शिता बढ़ेगी। इसके अलावा पर्यावरण अनुकूल होने के कारण इस सुविधा से वर्तमान में आरक्षण चार्ट प्रिंट करने के लिए प्रयोग किए जा रहे टनों कागजों की बचत होगी।
उन्होंने आगे कहा कि इस प्रणाली से यात्री आरक्षण प्रणाली में सुधार होगा तथा प्रतीक्षा सूची वाले यात्रियों को चलती गाड़ी में सीट उपलब्धता की पुष्टि होगी तथा सभी स्टेशनों को बर्थ उपलब्धता की स्थिति तत्काल पहुंच जाएगी। इस पहल से रिफंड के दावे का तेजी से निपटान करने में भी सहायता मिलेगी। (वार्ता)