विटामिन-ई कई प्रकार के फलों, तेलों और ड्राय फ्रूट्स में पाया जाता है। विटामिन-ई के कैप्सूल्स के बारे में भी आप जानते ही होंगे, जिन्हें खूबसूरती निखारने के लिए और कई प्रकार के सौन्दर्य प्रसाधनों में इस्तेमाल किया जाता है। आइए, हम आपको बताते हैं विटामिन-ई के 10 ऐसे सौन्दर्य और सेहत फायदे जो आपको भी जानना चाहिए -
1 बेहतरीन क्लिंजर - विटामिन-ई का उपयोग कई तरह के सौंदर्य प्रसाधनों में किया जाता है। इसका अहम कारण है, कि यह एक बेहतरीन क्लिंजर है, जो त्वचा की सभी परतों पर जमी गंदगी और मृत कोशिकाओं की सफाई करने में सहायक है।
2 आरबीसी निर्माण- शरीर में रेड ब्लड सेल्स यानि लाल रक्त कोशिकाओं का निर्माण करने में विटामिन-ई सहायक है। प्रेग्नेंसी के दौरान विटामिन- ई का सेवन बच्चे को एनीमिया यानि खून की कमी से बचाता है।
3 मानसिक रोग - एक शोध के अनुसार विटामिन-ई की कमी से मानसिक रोग होने की संभावना बढ़ जाती है। शरीर में विटामिन-ई की पर्याप्त मात्रा मानसिक तनाव और अन्य समस्याओं को कम करने में मदद करती है।
4 एंटी एजिंग - विटामिन-ई में भरपूर एंटी ऑक्सीडेंट्स पाए जाते हैं, जो त्वचा पर बढ़ती उम्र के असर को कम करते हैं। इसके अलावा यह झुर्रियों को भी कम करने और रोकने में बेहद प्रभावकारी है।
5 शोध के अनुसार जिन लोगों के शरीर में विटामिन ई की मात्रा अधिक होती है, उन्हें दिल की बीमारियों का खतरा कम होता है। यह मेनोपॉज के बाद महिलाओं में होन वाले हार्ट स्ट्रोक की संभावना को भी कम करता है।
6 प्राकृतिक नमी- त्वचा को प्राकृतिक नमी प्रदान करने के लिए विटामिन-ई बेहद फायदेमंद है। इसके अलावा यह त्वचा में कोशिकाओं के नवनिर्माण में भी सहायक है।
7 यूवी किरणों से बचाव- सूरज की हानिकारक अल्ट्रावायलेट किरणों से बचाने में विटामिन-ई महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। सनबर्न की समस्या या फोटोसेंसेटिव होने जैसी समस्याओं से विटामिन-ई रक्षा करता है।
8 विटामिन-ई का प्रयोग करने पर अल्जाइमर जैसी समस्याओं का खतरा कम होता है, इसके अलावा यह कैंसर से लड़ने में भी आपकी मदद करता है। एक शोध के अनुसार जिन लोगों को कैंसर होता है, उनके शरीर में विटामिन-ई की मात्रा कम होती है।
9 विटामिन ई की पर्याप्त मात्रा डायबिटीज के खतरे को कम करने में मदद करती है। यह ब्रेस्ट कैंसर की रोकथाम, इम्यून सिस्टम को मजबूती प्रदान करने के साथ-साथ एलर्जी से बचाव में भी उपयोगी होता है।
10 यह कोलेस्ट्रॉल की मात्रा कम करता है और शरीर में वसीय अम्लों के संतुलन को बनाए रखने में सहायता करता है। इसके साथ ही यह थायराइड और पिट्यूटरी ग्रंथि के कार्य में होने वाले अवरोध को रोकता है।