गोल्ड जीतकर भी संजीता चानू को है इस बात का दुख...
गोल्ड कोस्ट। कभी लगातार 2 बार स्वर्ण पदक जीतने वाले खिलाड़ी को पदक समारोह के बाद दुखी देखा है लेकिन भारोत्तोलक संजीता चानू उदास थीं कि वे राष्ट्रमंडल खेलों का रिकॉर्ड नहीं तोड़ सकीं।
चानू ने 100 फीसदी फिट नहीं होने के बावजूद 53 किलो वर्ग में स्नैच का रिकॉर्ड तोड़ते हुए स्वर्ण पदक जीता। उसने कहा कि वे दुखी हैं कि क्लीन एंड जर्क का रिकॉर्ड नहीं तोड़ सकीं।
उन्होंने कहा कि यदि आखिरी लिफ्ट में गलती नहीं होती तो मैं खेलों का रिकॉर्ड बना लेती। मैं वह करना चाहती थी लेकिन चूक गई और इसका दुख है। लेकिन चलता है। चानू क्लीन एंड जर्क में आखिरी प्रयास में 113 किलो वजन उठाना चाहती थीं लेकिन नहीं उठा सकीं।
उन्होंने कहा कि मैं क्लीन लिफ्ट में थोड़ी अकड़ गई थी जिससे जर्क में ठीक से पुश नहीं कर सकी। उसने 2014 ग्लास्गो खेलों में 48 किलोवर्ग में स्वर्ण पदक जीता था। चानू पिछले साल विश्व चैंपियनशिप से कमर की तकलीफ से जूझ रही हैं।
उन्होंने कहा कि इस चोट के कारण मैं कड़ा अभ्यास नहीं कर सकी। मुझे अच्छा सहयोग मिला जिससे प्रेरणा बनी रही। मैं स्पर्धा से पहले 15 दिन ही अभ्यास कर सकी। अभी भी पूरी तरह फिट नहीं हूं और फिजियो को भी प्रतिस्पर्धा स्थल पर आने की अनुमति नहीं मिली।
पदक समारोह के दौरान रो पड़ीं चानू ने कहा कि महीनों का दबाव आखिरकार छलक गया। मुझे खुशी है कि मैं उन लोगों को गलत साबित कर सकी जिन्होंने कहा था कि राष्ट्रीय चैंपियनशिप में दूसरे स्थान पर रहने के कारण मैं पदक नहीं जीत सकती। (भाषा)