kota Suicide Cases : कोटा में छात्रों की आत्महत्या के बाद सरकार हुई सख्त, कलेक्टर और कोचिंग संस्थानों के साथ की बैठक
Suicide case of Students : कोटा में एनईईटी के 2 अभ्यर्थियों की आत्महत्या के एक दिन बाद राजस्थान सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को वहां के जिला कलेक्टर और अन्य अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक की।बैठक में कोचिंग संस्थानों और हॉस्टल एसोसिएशन के प्रतिनिधि भी शामिल हुए। शहर में रविवार को 4 घंटे के अंतराल में 2 छात्रों ने अपनी जान दे दी।
अधिकारियों ने बताया कि प्रमुख सचिव (उच्च एवं तकनीकी शिक्षा) भवानी सिंह देथा की अध्यक्षता में हुई बैठक में कोचिंग संस्थानों और हॉस्टल एसोसिएशन के प्रतिनिधि भी शामिल हुए। बैठक में शामिल होने वाले अन्य अधिकारियों में कोटा के जिला कलेक्टर ओपी बुनकर, पुलिस अधीक्षक शरद चौधरी, अतिरिक्त कलेक्टर (प्रशासन) राजकुमार सिंह और अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक भगवत सिंह हैं। देथा इस मुद्दे पर विचार करने के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के निर्देश पर गठित एक समिति के अध्यक्ष भी हैं। समिति जल्द ही कोटा का दौरा भी करेगी।
गहलोत ने 18 अगस्त को सभी संबंधित पक्षों के साथ बैठक की थी और समिति बनाने का निर्देश दिया जो 15 दिनों के भीतर अपनी रिपोर्ट देगी। इंजीनियरिंग कॉलेजों में प्रवेश की संयुक्त प्रवेश परीक्षा (जेईई) और मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश की राष्ट्रीय पात्रता-सह-प्रवेश परीक्षा (एनईईटी) जैसी प्रतिस्पर्धी परीक्षाओं की तैयारी के लिए सालाना दो लाख से अधिक विद्यार्थी कोटा पहुंचते हैं।
शहर में रविवार को चार घंटे के अंतराल में दो छात्रों ने अपनी जान दे दी। अधिकारियों के अनुसार कोटा जिले में 2023 में अब तक प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे 22 छात्रों ने आत्महत्या की है। यह किसी भी साल के लिए अब तक की सबसे बड़ी संख्या है। पिछले साल यह आंकड़ा 15 था।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)