छत्तीसगढ़ में 'वैक्सीन नहीं तो वेतन नहीं' पर बवाल, अधिकारी ने दी सफाई
रायपुर। छत्तीसगढ़ के गौरेला—पेंड्रा—मरवाही जिले में आदिवासी विकास विभाग ने अपने कर्मचारियों को कोविड का टीका नहीं लगवाने पर आगामी माह का वेतन रोकने का आदेश जारी किया है।
गौरेला—पेंड्रा—मरवाही जिले में पदस्थ आदिवासी विकास विभाग के सहायक आयुक्त के एस मसराम ने इस महीने की 21 तारीख को कर्मचारियों को टीकाकरण कराने के लिए आदेश जारी किया था। हालांकि अब उनका कहना है कि उन्होंने कर्मचारियों की स्वास्थ्य सुरक्षा के मद्देनजर यह आदेश दिया था और किसी का भी वेतन नहीं रोका जाएगा।
आदेश में जिले में आदिवासी विकास विभाग के अंतर्गत संचालित कार्यालय, आश्रम और छात्रावासों में कार्यरत सभी अधिकारी कर्मचारियों को निर्देश दिया गया है कि वह कोविड—19 संक्रमण से रोकथाम के लिए टीका लगवाएं तथा इसके बाद टीकाकरण कार्ड की प्रति कार्यालय में उपलब्ध कराएं।
आदेश में कहा गया है कि टीकाकरण नहीं कराए जाने की स्थिति में आगामी माह का वेतन रोकने की कार्यवाही की जाएगी। विभाग के इस आदेश के बाद यह मामला सोशल मीडिया में वायरल हो गया।
जिले में पदस्थ आदिवासी विकास विभाग के सहायक आयुक्त के एस मसराम ने भाषा को बताया कि इस तरह के आदेश जारी करने का उद्देश्य अधिकारियों और कर्मचारियों का शत-प्रतिशत टीकाकरण कराना था। जिससे अधिकारी-कर्मचारी और उनके परिवार कोविड-19 महामारी से बच सकें।
मसराम ने कहा कि आदेश जारी होने के बाद 95 प्रतिशत अधिकारियों और कर्मचारियों ने कोविड-19 का टीका लगवा लिया है। अधिकारी ने स्पष्ट किया कि विभाग अगले महीने का वेतन नहीं रोकेगा।