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Last Modified: जयपुर , बुधवार, 11 अक्टूबर 2023 (23:26 IST)

Rajasthan Election : राजस्थान में भाजपा के नाराज नेताओं को मनाने की कोशिशें शुरू

Rajasthan Election : राजस्थान में भाजपा के नाराज नेताओं को मनाने की कोशिशें शुरू - Efforts to persuade angry BJP leaders begin in Rajasthan
Rajasthan Assembly Elections : भारतीय जनता पार्टी ने राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों की पहली सूची जारी होने के बाद नाराजगी दिखाने वाले पार्टी नेताओं को मनाने की कोशिश शुरू कर दी है। पार्टी के राज्य प्रभारी और राष्ट्रीय महासचिव अरुण सिंह और अन्य नेता ऐसे नेताओं एवं कार्यकर्ताओं को समझाने की कोशिश कर रहे हैं।
 
इसी बीच सांचौर सीट से पार्टी के घोषित प्रत्याशी एवं सांसद देवजी पटेल के वाहन को बुधवार को सांचौर में उनके खिलाफ प्रदर्शन कर रहे कुछ लोगों ने क्षतिग्रस्त कर दिया। भाजपा ने 41 उम्मीदवारों की पहली सूची सोमवार को जारी की थी। इसके बाद कम से कम आठ निर्वाचन क्षेत्रों में पार्टी की टिकट नहीं मिलने से निराश नेताओं या उनके समर्थकों ने मंगलवार को पार्टी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। राज्य में सभी 200 सीट पर 25 नवंबर को मतदान होगा और वोटों की गिनती तीन दिसंबर को होगी।
 
जयपुर में पूर्व विधायक राजपाल सिंह शेखावत के समर्थकों ने पार्टी कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया और झोटवाड़ा सीट पर उन्हें टिकट देने की मांग की। भाजपा ने झोटवाड़ा सीट पर सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौड़ को उम्मीदवार बनाया है। इसी तरह, विद्याधर नगर सीट से मौजूदा विधायक नरपत सिंह राजवी के समर्थकों में भी असंतोष सामने आया। राजवी का नाम इस सूची में नहीं है और पार्टी ने इस सीट से राजसमंद की सांसद दीया कुमारी को मैदान में उतारा है।
 
हालांकि राजवी की ओर से इस पर कोई सीधी प्रतिक्रिया नहीं आई। पांच बार के विधायक राजवी जहां पूर्व उपराष्ट्रपति भैरों सिंह शेखावत के दामाद हैं, वहीं दीया कुमारी जयपुर के पूर्व शाही परिवार की सदस्य हैं। पार्टी सूत्रों ने बताया कि राजस्थान के पार्टी मामलों के प्रभारी अरुण सिंह ने बुधवार को नरपत सिंह राजवी से मुलाकात की। उन्होंने कुछ असंतुष्टों को शांत करने के लिए उन्हें फोन भी किया।
राजवी के कार्यालय ने भी बुधवार को एक बयान जारी कर स्पष्ट किया कि उन्होंने किसी अखबार या समाचार चैनल को बयान नहीं दिया है। राजवी के कार्यालय ने कहा कि भैरों सिंह शेखावत के जन्म शताब्दी दिवस को सफलतापूर्वक आयोजित करने के लिए बैठकें की जा रही हैं।
 
सांचौर में सांसद देवजी पटेल के वाहन पर कुछ प्रदर्शनकारियों ने हमला कर दिया। उनके काफिले के कुछ अन्य वाहनों के अलावा उनके वाहन के कांच तोड़ दिए और उनके खिलाफ नारे लगाए एवं उन्हें काले झंडे दिखाए। सांसद के कर्मचारी की ओर से आरोपी के खिलाफ स्थानीय थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई गई है।
 
नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ बुधवार को टोंक में थे जहां पार्टी कार्यकर्ताओं ने उनसे मुलाकात की और देवली-उनियारा सीट से विजय बैंसला को पार्टी प्रत्याशी घोषित करने के खिलाफ ज्ञापन दिया। विजय बैंसला गुर्जर नेता किरोड़ी सिंह बैंसला के बेटे हैं। किरोड़ी सिंह बैंसला ने 2009 में टोंक-सवाई माधोपुर से भाजपा उम्मीदवार के रूप में लोकसभा चुनाव भी लड़ा था, लेकिन वह कांग्रेस के नमो नारायण मीणा से मामूली अंतर से हार गए थे।
 
पार्टी के स्थानीय कार्यकर्ता विजय बैंसला को बाहरी बता रहे हैं और उम्मीदवार बदलने की मांग कर रहे हैं। भाजपा द्वारा 41 नामों की घोषणा के बाद मंगलवार को कई जगहों पर विरोध प्रदर्शन किए गए जिसके बाद पार्टी ने इस मामले की जांच के लिए केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी की अध्यक्षता में 11 सदस्‍यीय समिति का गठन किया था। सूत्रों ने बताया कि पैनल के सदस्य आज असंतुष्ठ कार्यकर्ताओं और नेताओं से मुलाकात की।
 
पार्टी उम्मीदवारों की पहली सूची में टिकट नहीं मिलने पर कुछ नेता खुलकर पार्टी के फैसले के खिलाफ सामने आ गए। इनमें नगर में अनिता सिंह, किशनगढ़ में विकास चौधरी, तिजारा में मामन सिंह यादव, देवली-उनियारा में राजेंद्र गुर्जर शामिल हैं।
 
झोटवाड़ा सीट से पार्टी के उम्मीदवार घोषित किए गए राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने पूर्व मंत्री राजपाल सिंह शेखावत के समर्थन में झोटवाड़ा में विरोध प्रदर्शन पर टिप्पणी की और कहा कि ऐसा तब होता है जब अति महत्वाकांक्षा को ठेस पहुंचाई जाती है और ऐसे विरोध प्रदर्शन केवल कुछ दिनों तक चलते हैं।
 
हालांकि उन्होंने अति महत्वाकांक्षा रखने वाले किसी का नाम नहीं लिया। दूसरी बार के सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि टिकट वितरण पार्टी का निर्णय था और यह पार्टी की रणनीति का हिस्सा भी हो सकता है। उन्होंने कहा, यह रणनीति का हिस्सा हो सकता है कि किसी को आज मौका नहीं मिल रहा है लेकिन कल मौका मिल सकता है, लेकिन अगर कोई सचिन पायलट की तरह अति महत्वाकांक्षी हो जाता है, तो वह बार-बार अपने पैर पर कुल्हाड़ी मारेगा। ओलंपियन राज्यवर्धन राठौड़ का यह पहला विधानसभा चुनाव होगा।
 
झोटवाड़ा से पूर्व विधायक राजपाल सिंह को इस बार टिकट नहीं दिया गया है, वह पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के करीबी माने जाते हैं। वह इस सीट पर 2018 का विधानसभा चुनाव हार गए थे। विद्याधर नगर से उम्मीदवार घोषित सांसद दीया कुमारी ने कहा कि वह अपने घर (जयपुर) से चुनाव लड़ने का मौका पाकर खुश हैं।
 
उन्होंने कहा कि यह उनके लिए नया निर्वाचन क्षेत्र है लेकिन जयपुर उनका घर है और वह खुश हैं। जब उनसे राजवी खेमे में असंतोष के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि वह उनका सम्मान करती हैं और जिस दिन उनके नाम की घोषणा की गई थी, उन्होंने आशीर्वाद और समर्थन मांगने के लिए उन्हें फोन किया था।
 
उन्होंने कहा, मैं कहूंगी कि आप (राजवी) आएं, अपना आशीर्वाद और समर्थन दें। जिस दिन टिकट की घोषणा हुई थी उसी दिन मेरी उनसे बात हुई थी। मैं उनका आदर करती हूं। मुझे जो काम मिला है उस पर ध्यान केंद्रित करना है। सांसद दीया कुमारी सवाई माधोपुर विधानसभा सीट से विधायक रह चुकी हैं।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)
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