शुक्रवार, 22 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. समाचार
  2. मुख्य ख़बरें
  3. राष्ट्रीय
  4. Rahul Gandhi convoy in Manipur stopped at Bishnupur
Written By
Last Modified: इंफाल , गुरुवार, 29 जून 2023 (14:11 IST)

राहुल गांधी की मणिपुर यात्रा के दौरान बवाल, कांग्रेसियों पर आंसू गैस के गोले दागे

Rahul Gandhi Manipur visit
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के काफिले को मणिपुर पुलिस ने हिंसा की आशंका के चलते बृहस्पतिवार को बिष्णुपुर में रोक दिया। इस बीच खबर है कि राहुल गांधी का काफिला इंफाल की तरफ लौट गया है। राहुल को हवाई मार्ग से जाने को कहा गया, लेकिन वे हेलीकॉप्टर से जाने को तैयार नहीं हैं। 
 
राहुल हिंसा प्रभावित मणिपुर के अपने दो दिवसीय दौरे के लिए आज इंफाल पहुंचने के बाद चुराचांदपुर जिले के लिए रवाना हुए थे। जिले में राहुल की, हिंसा के कारण विस्थापित हुए लोगों से राहत शिविरों में मिलने की योजना है।
 
इससे पहले कांग्रेस की राज्य इकाई के अधिकारियों ने बताया कि अपने दो दिवसीय दौरे पर वह नागरिक संगठनों के प्रतिनिधियों, बुद्धिजीवियों और अन्य लोगों से भी बातचीत करेंगे। राज्य में कांग्रेस के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा कि इस दौरे का मकसद मणिपुर में जातीय संघर्ष से प्रभावित लोगों को सांत्वना देना है।
 
मणिपुर में इस साल मई में जातीय संघर्ष शुरू होने के बाद से 300 से अधिक राहत शिविरों में करीब 50 हजार लोग रह रहे हैं। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कीशम मेघचंद्र ने गांधी के दौरे से पहले कहा कि मणिपुर में हालात अच्छे नहीं हैं। हिंसा अब भी जारी है और गोलीबारी होती रहती है।
 
उन्होंने दावा किया कि लोगों को भाजपा की डबल-इंजन सरकार पर भरोसा नहीं है। कांग्रेस की मणिपुर इकाई के प्रभारी डॉ. अजॉय कुमार ने दौरे की शुरुआत में कहा कि सरकार को लोगों की बात सुननी चाहिए और मणिपुर के मुख्यमंत्री बीरेन सिंह की सरकार को हटाया जाना चाहिए।
राहत शिविरों में जाएंगे राहुल : कांग्रेस पार्टी से जुड़े सूत्रों ने बताया कि राहुल गांधी की शुक्रवार को इंफाल में राहत शिविरों का दौरा करने और बाद में कुछ नागरिक संगठनों के सदस्यों से बातचीत करने की भी योजना है।
 
गौरतलब है कि मणिपुर में मेइती और कुकी समुदाय के बीच मई की शुरुआत में भड़की जातीय हिंसा में 100 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। मणिपुर में अनुसूचित जनजाति (एसटी) का दर्जा देने की मेइती समुदाय की मांग के विरोध में तीन मई को पर्वतीय जिलों में ‘आदिवासी एकजुटता मार्च’ के आयोजन के बाद झड़पें शुरू हुई थीं।
 
मणिपुर की 53 प्रतिशत आबादी मेइती समुदाय की है और यह मुख्य रूप से इंफाल घाटी में रहती है। वहीं, नगा और कुकी जैसे आदिवासी समुदायों की आबादी 40 प्रतिशत है और यह मुख्यत: पर्वतीय जिलों में रहती है। (एजेंसी/वेबदुनिया)
Edited by: Vrijendra Singh Jhala
ये भी पढ़ें
शिवराज सरकार स्कूलों में पढ़ाएगी वीर सावरकर की जीवनी, कांग्रेस ने बताया शहीदों का अपमान