बेंगलुरू। कर्नाटक में जद (एस) - कांग्रेस गठबंधन का नेतृत्व कर रहे एचडी कुमारस्वामी बुधवार शाम साढ़े चार बजे मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। शपथ ग्रहण समारोह में विपक्ष के कई नेता और कई राज्यों के मुख्यमंत्री भी शरीक होंगे। यह घटनाक्रम अगले साल होने जा रहे लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा विरोधी एक मंच तैयार कर सकता है। कुमार स्वामी ने शपथ ग्रहण से पहले कहा कि अगले पांच साल तक गठबंधन सारकार चलाना उनके लिए बड़ी चुनौती होगी।
कर्नाटक में कांग्रेस के प्रभारी केसी वेणुगोपाल ने बताया कि प्रदेश पार्टी अध्यक्ष जी परमेश्वर उप मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने दलित नेता परमेश्वर के नाम को मंजूरी दी है।
वेणुगोपाल ने बताया कि पूर्व मंत्री एवं कांग्रेस के रमेश कुमार अगले विधानसभा अध्यक्ष (स्पीकर) होंगे, जबकि डिप्टी स्पीकर का पद जद (एस) के खाते में जाएगा।
उन्होंने बताया कि कांग्रेस के 22 और जद (एस) से 12 मंत्री होंगे। बृहस्पतिवार को विधानसभा में होने वाले शक्ति परीक्षण के बाद वे शपथ लेंगे।
कुमारस्वामी एक हफ्ते के अंदर कर्नाटक में शपथ लेने वाले दूसरे मुख्यमंत्री होंगे। दरअसल, भाजपा के प्रदेश प्रमुख बीएस येदियुरप्पा ने 19 मई को शक्ति परीक्षण का सामना किए बगैर इस्तीफा दे दिया था।
कुमारस्वामी ने कहा है कि विभागों के आवंटन पर बृहस्पतिवार को चर्चा होगी। गठबंधन के सुचारू रूप से कामकाज करने के लिए एक समन्वय समिति गठित की जाएगी।
जद (एस) प्रमुख एवं पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा के बेटे कुमारस्वामी को राज्यपाल वजुभाई वाला विधानसौध के सामने शाम साढ़े चार बजे पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाएंगे।
यह कुमारस्वामी का दूसरा कार्यकाल होगा। इससे पहले उन्होंने फरवरी 2006 से अक्तूबर 2007 के बीच 20 महीनों तक जद (एस) -भाजपा गठबंधन सरकार का नेतृत्व किया था।
शपथ ग्रहण समारोह के लिए बड़ा मंच बनाया गया है। समारोह में कई राष्ट्रीय और क्षेत्रीय नेताओं के शरीक होने की उम्मीद है। इसके जरिए 2019 के आम चुनाव से पहले भाजपा को विपक्षी एकजुटता का एक संदेश दिए जाने की उम्मीद है।
सरकारी अधिकारियों और जद (एस) सूत्रों ने बताया कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, संप्रग अध्यक्ष एवं उनकी मां सोनिया गांधी, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन के भी समारोह में शरीक होने की संभावना है।
माकपा महासचिव सीताराम येचुरी, बिहार विधानसभा में विपक्षी नेता तेजस्वी यादव और नेकां के नेता फारूक अब्दुल्ला के भी उपस्थित होने की उम्मीद है। बसपा प्रमुख मायावती और सपा नेता अखिलेश यादव भी समारोह में शरीक होंगे।
इस बीच, द्रमुक नेता एमके स्टालिन ने बेंगलुरू की अपनी यात्रा रद्द कर दी है। इसके बजाय वह तमिलनाडु में तूतीकोरीन जाएंगे, जहां आज पुलिस गोलीबारी में नौ लोग मारे गए।
कुमारस्वामी ने स्वीकार किया है कि अगले पांच साल कांग्रेस-जद (एस) गठबंधन की सरकार चलाना उनके लिए बड़ी चुनौती रहेगी।
कुमारस्वामी ने कहा, 'मेरी जिंदगी की यह बड़ी चुनौती है। मैं यह अपेक्षा नहीं कर रहा कि मैं आसानी से मुख्यमंत्री के रूप में अपनी जिम्मेदारियों को पूरा कर पाऊंगा।'
गौरतलब है कि 224 सदस्यीय विधानसभा की प्रभावी क्षमता फिलहाल 221 सदस्यों की है। विधानसभा चुनाव में भाजपा 104 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी थी। (भाषा)