दिल्ली आबकारी नीति मामले से जुड़ा घटनाक्रम
Delhi Excise Policy Case : उच्चतम न्यायालय ने दिल्ली आबकारी नीति से जुड़े धनशोधन मामले में शुक्रवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को लोकसभा चुनाव प्रचार के लिए 1 जून तक की अंतरिम जमानत दे दी। मामले से जुड़ा घटनाक्रम इस प्रकार है :
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नवंबर 2021 : दिल्ली सरकार ने नई आबकारी नीति पेश की।
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जुलाई 2022 : उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने नीति बनाने और लागू करने में हुईं कथित अनियमितताओं की केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) से जांच कराने की सिफारिश की।
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अगस्त 2022 : सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने कथित अनियमितताओं के संबंध में मामले दर्ज किए।
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सितंबर 2022 : दिल्ली सरकार ने आबकारी नीति रद्द की।
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30 अक्टूबर, 2023 : ईडी ने केजरीवाल को धनशोधन मामले में पहला समन जारी कर दो नवंबर को पूछताछ के लिए पेश होने को कहा।
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दिसंबर 2023 : ईडी ने केजरीवाल को दो समन जारी कर 21 और 3 जनवरी को पूछताछ के लिए बुलाया।
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जनवरी 2024 : ईडी ने केजरीवाल को दो और समन जारी कर 18 जनवरी और दो फरवरी को पूछताछ के लिए बुलाया।
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सात फरवरी : ईडी ने समन की अनदेखी के लिए मजिस्ट्रेट अदालत के समक्ष केजरीवाल के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई।
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सात फरवरी : मजिस्ट्रेट अदालत ने ईडी की शिकायत पर केजरीवाल को समन जारी किया।
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फरवरी : ईडी ने केजरीवाल को तीन समन जारी कर 19 फरवरी, 26 फरवरी और चार मार्च को पूछताछ के लिए बुलाया।
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सात मार्च : मजिस्ट्रेट अदालत ने समन की अनदेखी को लेकर ईडी की नई शिकायत पर केजरीवाल को समन जारी किया।
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15 मार्च : सत्र अदालत ने समन की अनदेखी को लेकर केजरीवाल के खिलाफ कार्यवाही पर रोक लगाने से इनकार कर दिया।
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16 मार्च : समन की अनदेखी को लेकर ईडी की शिकायतों के बाद केजरीवाल पेश हुए, जिसके बाद मजिस्ट्रेट अदालत ने उन्हें जमानत दी।
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21 मार्च : दिल्ली उच्च न्यायालय ने केजरीवाल को जारी समन को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर गिरफ्तारी से सुरक्षा देने से इनकार कर दिया। कुछ देर बाद ही ईडी ने केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया।
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9 अप्रैल : उच्च न्यायालय ने ईडी द्वारा गिरफ्तारी के खिलाफ केजरीवाल की याचिका खारिज की।
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10 अप्रैल : केजरीवाल ने ईडी द्वारा गिरफ्तारी को बरकरार रखने के उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती देते हुए उच्चतम न्यायालय का रुख किया।
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15 अप्रैल : उच्चतम न्यायालय ने गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली केजरीवाल की याचिका पर ईडी से 24 अप्रैल तक जवाब देने के लिए कहा।
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24 अप्रैल : ईडी ने उच्चतम न्यायालय को बताया कि केजरीवाल ने अपने आचरण से जांच अधिकारी को यह संतुष्टि दिलाने के लिए नेतृत्व किया कि वह मनी लॉन्ड्रिंग के दोषी हैं।
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29 अप्रैल : उच्चतम न्यायालय ने बयान दर्ज कराने के लिए बार-बार समन भेजने के बावजूद ईडी के समक्ष केजरीवाल के उपस्थित नहीं होने पर सवाल उठाया और पूछा कि क्या वह अपना पक्ष दर्ज नहीं कराने के आधार पर गिरफ्तारी को चुनौती दे सकते हैं।
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3 मई : उच्चतम न्यायालय ने कहा कि वह मौजूदा लोकसभा चुनावों के मद्देनजर केजरीवाल को अंतरिम जमानत देने पर विचार कर सकता है।
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8 मई : उच्चतम न्यायालय ने कहा कि वह केजरीवाल को अंतरिम जमानत पर 10 मई को आदेश सुनाएगा।
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10 मई : उच्चतम न्यायालय ने केजरीवाल को 1 जून तक के लिए अंतरिम जमानत दी और कहा कि उन्हें 2 जून को आत्मसमर्पण कर जेल वापस जाना होगा। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour