लोकपाल और किसानों के कल्याण के लिए मोदी सरकार के खिलाफ अन्ना हजारे ने वापस लिया अनशन
पुणे। समाजसेवी अन्ना हजारे ने लोकपाल नियुक्ति और अन्य मामलों में सरकार की ओर से कुछ कदम उठाए जाने के कारण अपना प्रस्तावित आंदोलन न करने की घोषणा की है।
अन्ना ने कहा कि यदि सरकार उनकी मांगों को पूरा करने में विफल होती है तो वे 30 जनवरी से विरोध प्रदर्शन शुरू करेंगे। महाराष्ट्र के राज्य मंत्री गिरीश महाजन रालेगण सिद्धी पहुंचे और अन्ना से मुलाकात कर केंद्रीय और राज्य सरकार की तरफ से उनकी मांग के संबंध में उठाए कदम की जानकारी दी और उनसे विरोध प्रदर्शन को वापस लेने का आग्रह किया।
अन्ना ने कहा था कि गांधी के जयंती के दिन से अपना विरोध प्रदर्शन शुरू करेंगे। उन्होंने कहा कि मार्च के माह में दिल्ली के रामलीला मैदान में विरोध प्रदर्शन के दौरान सरकार ने जो वादा किया था उसमें से कोई भी वादा पूरा नहीं किया।
उन्होंने कहा कि लोकपाल और लोकायुक्त की नियुक्ति के संबंध में तथा किसानों के कृषि उत्पादन का दाम डेढ़ गुना की घोषणा से उम्मीद कुछ किरणें दिखाई दे रही हैं, इसलिए विरोध प्रदर्शन को वापस लिया जा रहा है।