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Last Updated : शुक्रवार, 5 फ़रवरी 2021 (14:23 IST)

Farmers Protest: राउत का आरोप, आंदोलन को बदनाम करने की साजिश रच रही है सरकार

Sanjay Raut | Farmers Protest: राउत का आरोप, आंदोलन को बदनाम करने की साजिश रच रही है सरकार
नई दिल्ली। शिवसेना ने शुक्रवार को दावा किया कि दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहा आंदोलन सिर्फ पंजाब, हरियाणा और पश्चिमी उत्तरप्रदेश के किसानों का नहीं बल्कि पूरे देश का आंदोलन है, साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार इस आंदोलन को बदनाम करने की साजिश रच रही है।
 
राष्ट्रपति के अभिभाषण पर राज्यसभा में पेश धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में हिस्सा लेते हुए शिवसेना नेता संजय राउत ने यह कहते हुए भी सरकार पर निशाना साधा कि उससे सवाल पूछने या उसकी आलोचना करने वालों पर आज देशद्रोह का मुकदमा दायर कर दिया जाता है।
मोदीजी को प्रचंड बहुमत मिला है और हम इसका सम्मान करते हैं। बहुमत देश चलाने के लिए होता है, बहुमत अहंकार से नहीं चलता। निंदा करने वालों को आप बदनाम कर देते हैं, जैसे किसान आंदोलन आंदोलन को बदनाम करने की साजिश चल रही है। यह देश की प्रतिष्ठा के लिए ठीक नहीं है, यह देश के किसानों के लिए और हम सब के लिए ठीक नहीं है।
 
गणतंत्र दिवस के दिन लाल किले पर हुई घटना का उल्लेख करते हुए राउत ने कहा कि इस मामले का मुख्य आरोपी अभी तक पकड़ा नहीं गया है जबकि 200 से अधिक किसानों को जेल में बंद कर देशद्रोह का मुकदमा दायर कर दिया गया है। लाल किले का अपमान करने वाला दीप सिद्धू कौन है? किसका आदमी है? इस बारे में क्यों नहीं बताया जाता? किसने उसे ताकत दी? अब तक वह पकड़ा नहीं गया लेकिन 200 से ज्यादा किसान इस प्रकरण में बंद हैं और उनके खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा दायर कर दिया गया है।
उन्होंने आरोप लगाया कि हक के लिए लड़ने वाले किसानों को इस सरकार ने देशद्रोही बना दिया है। राउत ने कहा कि पंजाब, हरियाणा और पश्चिमी उत्तरप्रदेश के किसान पूरे देश के किसानों की लड़ाई लड़ रहे हैं। यह सिर्फ तीन राज्यों की लड़ाई नहीं है, बल्कि पूरा देश उनके साथ है। हमारे सिख भाई जब मुगलों के खिलाफ लड़े तो योद्धा कहलाए, अंग्रेजों से लड़े तो देशभक्त और कोरोना के समय लंगर लगाए तो देशप्रेमी हो गए। लेकिन जब वे अपने हक के लिए लड़े तो वे खालिस्तानी और देशद्रोही हो गए।
किसानों के आंदोलन स्थलों के इर्द-गिर्द सुरक्षा कड़ी किए जाने और इसके मद्देनजर सड़कों पर किले और अवरोधक लगाने का उल्लेख करते राउत ने केंद्र सरकार को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि ऐसी व्यवस्था यदि लद्दाख में सीमा पर की गई होती तो चीन भारत के अंदर नहीं आता। आज देश में ऐसा माहौल हो गया है कि सच बोलने वालों को गद्दार और देशद्रोही कहकर पुकारा जाता है।
 
आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह, कांग्रेस नेता शशि थरूर और राजदीप सरदेसाई सहित कुछ पत्रकारों के खिलाफ दर्ज मुकदमों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि आज जो सरकार से सवाल पूछता है, उस पर देशद्रोह का मुकदमा ठोक दिया जा रहा है। मुझे लगता है कि कानून की किताब से आईपीसी की धाराएं खत्म करके एक ही धारा कर दी गई है और वह है देशद्रोह की। घरेलू हिंसा के मामलों में भी देशद्रोह का मुकदमा ठोंक दिया जाता है। (भाषा)
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