शुक्रवार, 15 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. सामयिक
  2. बीबीसी हिंदी
  3. बीबीसी समाचार
  4. Neerav Modi was writing at the time of hearing in London court
Written By
Last Modified: शनिवार, 30 मार्च 2019 (08:08 IST)

नीरव मोदी लंदन में कोर्ट की सुनवाई के दौरान लगातार कुछ लिख रहे थे

नीरव मोदी लंदन में कोर्ट की सुनवाई के दौरान लगातार कुछ लिख रहे थे - Neerav Modi was writing at the time of hearing in London court
भारत के हीरा कारोबारी नीरव मोदी की जमानत याचिका लंदन की वेस्टमिंस्टर कोर्ट ने खारिज कर दी है। नीरव मोदी को लंदन के होल्बोर्न इलाके से 19 मार्च को गिरफ्तार किया गया था जिसके बाद उन्हें लंदन के वेस्टमिंस्टर कोर्ट में पेश किया गया। उस समय अदालत ने नीरव मोदी को 29 मार्च तक हिरासत में भेज दिया था।
 
48 साल के नीरव मोदी ने शुक्रवार (29 मार्च) को अदालत से ज़मानत की अपील की थी लेकिन अदालत ने उनकी अपील को खारिज करते हुए उन्हें दोबारा हिरासत में भेजने का आदेश दिया।
 
नीरव मोदी की जमानत याचिका खारिज होने के वक्त कोर्ट में मौजूद बीबीसी संवाददाता गगन सभरवाल ने बताया, 'मैं पहली बार नीरव मोदी से मिल रही थी, अब तक मेरे जेहन में उनकी बहुत अलग तस्वीर थी। जिस नीरव मोदी को मैंने अखबारों में और टीवी पर देखा था, उनकी छवि महंगे कपड़े पहने एक स्मार्ट आदमी की थी, जिसके चेहरे पर प्यारी सी मुस्कान थी।'
 
गगन कहती हैं, 'लेकिन जिस नीरव मोदी को मैंने आज कोर्ट में देखा है वो बिल्कुल इसके उलट दिख रहे थे। नीरव सफेद शर्ट पहने थे, जिस पर सिलवटें पड़ी थी। वो निराश और अशांत दिख रहे थे और उन्होंने अपनी दाढ़ी भी नहीं बना रखी थी। बेचैन नजर आ रहे नीरव के चेहरे पर उदासी छायी हुई थी। कोर्ट में सुनवाई के दौरान वो नोट्स बना रहे थे। मैंने पहले कभी किसी अभियुक्त को ऐसा करते नहीं देखा, यहां तक कि विजय माल्या को भी नहीं।
 
आमतौर पर अभियुक्त के वकील, कोर्ट के कर्मचारी और मेरे जैसे पत्रकार ही कोर्ट में नोट्स लिखा करते हैं। लेकिन नीरव अलग थे। मुझे लगता है कि इसके पीछे उनकी मंशा कोर्ट में आगे की सुनवाई को लेकर अपनी तैयारी पुख्ता करने की होगी।'
 
जब चीफ मैजिस्ट्रेट एमा आर्बथनॉट ने उन्हें जमानत देने से इनकार किया, तो वो परेशान दिखे और चौंके भी क्योंकि उन्होंने अपनी जमानत राशि के रूप में दस लाख मिलियन पाउंड तक देने की पेशकश की थी। लेकिन मामले की गंभीरता और उन पर लगे आरोपों (सबूतों को नष्ट करना, झूठे बयान के बदले किसी को 22 हजार पाउंड की पेशकश करने, गवाहों के साथ दखल देना इत्यादि) के कारण जज ने उनकी ज़मानत याचिका रद्द कर दी। ये वो ही महिला जज हैं जिन्होंने विजय माल्या के प्रत्यर्पण का फैसला दिया था।'
 
नीरव मोदी के वकील ने क्या कहा?
नीरव मोदी के वकील क्लेयर मोंटगोमरी ने कहा कि नीरव मोदी जनवरी 2018 से ब्रिटेन में रह रहे हैं। अगस्त 2018 से उन्हें प्रत्यर्पित किए जाने की बात चल रही है। उनके पास छुपने की कोई जगह नहीं है। वो ब्रिटेन में आजादी से रह रहे हैं और कभी छुपने की कोशिश नहीं की।
 
अदालत से जमानत की अपील करते हुए नीरव मोदी के वकील ने कहा, 'बचाव पक्ष का सुझाव है कि नीरव मोदी को जमानत देकर घर में नज़रबंद कर दिया जाए और उनकी इलेक्ट्रोनिक मॉनिटरिंग भी की जा सकती जो कि पहले से ज़्यादा सख्त है और इस दौरान वो स्थानीय पुलिस स्टेशन को रिपोर्ट कर सकते हैं। आप उन्हें खास तरह का फोन दे सकते हैं कि जिनसे अधिकारी हमेशा उनसे संपर्क में रह सकते हैं।'
 
नीरव मोदी को भारत लाने का प्रयास कर रही भारतीय एजेंसियों की पैरवी करते हुए टोबी कॉडमैन ने दलील दी कि नीरव मोदी भारतीय जाँच एजेंसियों के साथ सहयोग नहीं कर रहे हैं और इस बात की आशंका है कि वो ब्रिटेन से फरार हो सकते हैं। वकील कॉडमैन ने कहा कि बेल देने पर नीरव सबूतों को नष्ट कर सकते हैं और गवाह पर दबाव डाल सकते हैं। अगर नीरव मोदी को जमानत मिलती है तो हमलोग इसके खिलाफ उच्च न्यायालय में अपील करेंगे। नीरव को हिरासत में रखने के लिए हमलोग हर संभव कोशिश करेंगे। लेकिन अदालत ने दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद नीरव मोदी की जमानत याचिका खारिज कर दी।
 
नीरव मोदी भारत के पंजाब नेशनल बैंक के करीब 14 हजार करोड़ रुपए से अधिक के फ्रॉड में मुख्य अभियुक्त हैं।
ये भी पढ़ें
क्या मोदी ने सच में अपने उद्योगपति दोस्तों के कर्ज माफ किए?